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यह मंत्रालय राष्ट्रीय राजमार्गों के विकास और रखरखाव, केंद्रीय सड़क निधि प्रदान करना और सड़क परिवहन से संबंधित नीतियों को तैयार कर उनके कार्यान्वयन के लिए जिम्मेदार है। मंत्रिमंडल सचिवालय द्वारा बनाए गए और जारी किए गए भारत सरकार (कार्यों का आवंटन) नियमावली, 1961 के अनुसार वर्तमान में, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय को आवंटित विषय निम्‍नानुसार हैं:--

निम्नलिखित विषय जो भारत के संविधान की सातवीं अनुसूची की सूची-1 के अंतर्गत आते हैं:

  •  मोटर वाहनों का अनिवार्य बीमा।
  • सड़क परिवहन निगम अधिनियम, 1950 (1950 का 64) लागू करना।
  • संसद द्वारा बनाए गए कानून द्वारा या उसके तहत घोषित राजमार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग बनाना।
  • विधायी विभाग द्वारा जांच और पुनरीक्षण किए बिना राष्ट्रीय राजमार्ग अधिनियम, 1956 (1956 का 48) की धारा 3 के खंड (a) और धारा 3ए, 3डी, 7 और धारा 8ए के तहत अधिसूचना जारी करना।

संघ राज्‍य क्षेत्रों के संबंध में:

  • राष्ट्रीय राजमार्गों के अलावा अन्य सड़कें।
  • मोटर यान अधिनियम, 1988 (1988 का 59) को लागू करना और मोटर वाहनों का कराधान।
  • यांत्रिक रूप से चलने वाले वाहनों के अलावा अन्य वाहन।

अन्य विषय जिन्हें पिछले भागों में शामिल नहीं किया गया है:

  • विलोपित-3
  • सड़क कार्यों से संबंधित समन्वय और अनुसंधान।
  • पूर्वोत्‍तर क्षेत्र के अलावा केंद्र सरकार द्वारा पूरे या आंशिक रूप से वित्‍तपोषित सड़क कार्य।
  • मोटर यान कानून।
  • मोटर परिवहन और अंतर्देशीय जल परिवहन के क्षेत्र में परिवहन सहकारी समितियों को बढ़ावा देना।
  • सड़कों के अवसंरचना क्षेत्रों में निजीकरण नीति तैयार करना।.

स्वायत्त निकाय:

  • भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण।

सोसायटी/एसोसिएशन:

  • राष्ट्रीय राजमार्ग अभियंता प्रशिक्षण संस्थान।

सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम:

  • भारतीय सड़क निर्माण निगम।

अधिनियम:

  • सड़क परिवहन निगम अधिनियम, 1950 (1950 का 64)।
  • राष्ट्रीय राजमार्ग अधिनियम, 1956 (1956 का 48)।
  • मोटर यान अधिनियम, 1988 (1988 का 59)।
  • भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण अधिनियम, 1988 (1988 का 68)।